Sahil Sharma flying Officer: तीन पीढ़ियों की सैन्य परम्परा को आगे बढ़ाते हुए साहिल शर्मा ने हासिल किया नया कीर्तिमान
Sahil Sharma flying Officer: हिमाचल प्रदेश के हमीरपुर जिले के एक छोटे से गांव बदेहरा से ताल्लुक रखने वाले साहिल शर्मा ने भारतीय वायुसेना में फ्लाइंग ऑफिसर बनकर पूरे क्षेत्र का मान बढ़ाया है। शनिवार को हैदराबाद स्थित एयरफोर्स अकादमी में आयोजित पासिंग आउट परेड में जब साहिल ने वर्दी पहनी, तो उनके माता-पिता संजय कुमार और नीलम के चेहरे पर गर्व और खुशी साफ झलक रही थी।
यह क्षण सिर्फ एक युवक की उपलब्धि नहीं, बल्कि उस परिवार की तीसरी पीढ़ी की राष्ट्र सेवा में भागीदारी की कहानी है। साहिल के दादा, नाना और पिता—तीनों ने देश की सेवा में योगदान दिया है। उनके पिता संजय कुमार भारतीय सेना से सेवानिवृत्त हवलदार हैं और वर्तमान में हिमाचल प्रदेश परिवहन निगम में कंडक्टर के रूप में कार्यरत हैं, जबकि मां नीलम एक समर्पित गृहिणी हैं।
यह भी पढ़ें- अल्मोड़ा के कृषांग जोशी बने NEET परीक्षा के स्टेट टॉपर डॉक्टर बनकर पहाड़ में करना चाहते हैं सेवा
NDA से लेकर एयरफोर्स तक: हमीरपुर के साहिल की प्रेरक सफलता गाथा, पहले ही प्रयास में उत्तीर्ण की थी एनडीए परीक्षा Sahil Sharma Indian airforce flying Officer Hamirpur Himachal Pradesh:
साहिल की शिक्षा की बात करें तो उन्होंने आठवीं तक की पढ़ाई डीएवी स्कूल कांगू से की, जिसके बाद सैनिक स्कूल सुजानपुर में दाखिला लिया। यहीं से उनका सैन्य जीवन की ओर रुझान और मजबूत हुआ। एनडीए की परीक्षा उन्होंने पहले ही प्रयास में पास कर ली थी, जो उनके अनुशासन और समर्पण का स्पष्ट प्रमाण है। उनकी सफलता के पीछे न केवल व्यक्तिगत मेहनत बल्कि पारिवारिक मूल्यों, शिक्षकों का मार्गदर्शन और उस प्रेरणादायक वातावरण की भी बड़ी भूमिका रही है, जिसमें वह पले-बढ़े। गांव के लोग साहिल की उपलब्धि पर बेहद गर्व महसूस कर रहे हैं। बच्चों और युवाओं के लिए वे अब एक आदर्श बन चुके हैं।
यह भी पढ़ें- बधाई: चम्पावत के रवीश भट्ट बने CRPF में असिस्टेंट कमांडेंट UPSC परीक्षा में हासिल की 101वीं रैंक
बदेहरा जैसे छोटे गांव से निकलकर देश की रक्षा में अहम भूमिका निभाना सिर्फ साहिल की नहीं, उन हजारों युवाओं की प्रेरणा है जो सीमित संसाधनों के बावजूद बड़े सपने देखते हैं। साहिल शर्मा की यह उड़ान न केवल वायुसेना में एक नई शुरुआत है, बल्कि समूचे हिमाचल के लिए गर्व का विषय भी।
यह भी पढ़ें- बधाई: रुद्रप्रयाग की अंजली गोस्वामी ने सेना में लेफ्टिनेंट बनकर दी अपने सपनों को ऊँची उड़ान